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हिंदी साहित्य
हिंदी साहित्य: हिंदी भारत और विश्व में सर्वाधिक बोली जाने वाली भाषाओं में से एक है। उसकी जड़ें प्राचीन भारत की संस्कृत भाषा में तलाशी जा सकती हैं। परंतु हिन्दी साहित्य की जड़ें मध्ययुगीन भारत की अवधी, मागधी , अर्धमागधी तथा मारवाड़ी जैसी भाषाओं के साहित्य में पायी जाती हैं। हिंदी में गद्य का विकास बहुत बाद में हुआ। हिंदी ने अपनी शुरुआत लोकभाषा कविता के माध्यम से की। हिंदी का आरंभिक साहित्य अपभ्रंश में मिलता है।
हिन्दी साहित्य का काल विभाजन
प्रस्तुत पोस्ट में हिन्दी साहित्य के इतिहास का अध्ययन किया जाएगा। इसके अतिरिक्त हिन्दी साहित्य का काल विभाजन पर विस्तृत चर्चा इस पोस्ट में की गयी है। काल विभाजन व नामकरण के संबंध में विभिन्न विद्वानों और आचार्यों के मत भी इस पोस्ट में!-->…
दलपत विजय रचित खुमानरासो (810-1000)
खुम्माण ने 24 युद्ध किए और वि.सं. 869 से 893 तक राज्य किया। यह समस्त वर्णन 'दलपतविजय' नामक किसी कवि के रचित खुमानरासो के आधार पर लिखा गया जान पड़ता है।
नरपति नाल्ह कृत बीसलदेव रासो
नरपति नाल्ह कृत बीसलदेव रासो
नरपति नाल्ह कवि विग्रहराज चतुर्थ उपनाम बीसलदेव का समकालीन था। कदाचित् यह राजकवि था। इसने ‘बीसलदेवरासो' नामक एक छोटा सा (100 पृष्ठों का) ग्रंथ लिखा है, जो वीरगीत के रूप में है। ग्रंथ में निर्माणकाल यों दिया!-->!-->!-->…
भाषा की महत्त्व
भाषा की महत्त्व एवं विशेषताएँ
भाषा की महत्त्व एवं विशेषताएँ : मनुष्य सामाजिक प्राणी है। समाज में रहने के नाते उसे आपस में सर्वदा ही विचार-विनिमय करना पड़ता है। कभी वह शब्दों या वाक्यों द्वारा अपने आपको प्रकट करता है। तो कभी सिर हिलाने!-->!-->!-->…
भाषा की प्रकृति व विशेषताएँ
भाषा के सहज गुण-धर्म को भाषा की प्रकृति कहते हैं। इसे ही भाषा की विशेषता या लक्षण कह सकते हैं।
भाषा की प्रकृति व विशेषताएँ
भाषा की प्रकृति को दो भागों में विभक्त कर सकते हैं।
सर्वमान्य प्रकृति
विशिष्ट भाषागत प्रकृति
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भाषा के प्रकार्य
इस पोस्ट में भाषा के प्रकार्य के बारें पढेंगे
भाषा के प्रकार्य
विचारों के आदान – प्रदान का महत्वपूर्ण साधन है।
भाषा को मनुष्य सामाजिक संबंधों की अभिव्यक्ति का उपकरण बनाता है।
भाषा मानसिक चिंतन प्रक्रिया को पूरा करता है।
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भाषा की संरचना एवं भाषिक आधार
भाषा की संरचना एवं भाषिक आधार के इस पोस्ट के अध्ययन के पश्चात् सक्षम होंगे-
भाषा की संरचना से परिचित होंगे। भाषा के आधार से अवगत होंगे। .
भाषाविज्ञान और हिंदी भाषा
भाषा की संरचना
भाषा यादृच्छिक ध्वनि-प्रतीकों की संरचनात्मक!-->!-->!-->!-->!-->!-->!-->!-->!-->…
हरी घास पर छड़ भर वस्तुनिष्ठ प्रश्न
हरी घास पर छड़ भर सच्चिदानंद हीरानंद वात्स्यायन 'अज्ञेय' का कविता संग्रह है. यहाँ पर इसकी कविता और सम्बंधित वस्तुनिष्ठ प्रश्न प्रस्तुत है।
हरी घास पर छड़ भर
आओ बैठेंइसी ढाल की हरी घास पर।
माली-चौकीदारों का यह समय नहीं है,और!-->!-->!-->!-->!-->!-->!-->…
भाषा विज्ञान, हिंदी भाषा एवं देवनागरी लिपि पर वस्तुनिष्ठ प्रश्न
भाषा विज्ञान, हिंदी भाषा एवं देवनागरी लिपि
प्रश्न 1 "मनुष्य और मनुष्य के बीच वस्तुओं के विषय में अपनी इच्छा और मति के आदान प्रदान करने के लिए व्यक्त ध्वनि संकेतों का जो व्यवहार होता है उसे भाषा कहते हैं।"
उक्त परिभाषा किस विद्वान की!-->!-->!-->!-->!-->…
मुक्तिबोध का व्यक्तित्व और कृतित्व( भूल गलती) वस्तुनिष्ठ प्रश्न
मुक्तिबोध का व्यक्तित्व और कृतित्व( भूल गलती) वस्तुनिष्ठ प्रश्न
1. मुक्तिबोध को उबड़खाबड़ व्यक्तित्व का किसने माना है:१. प्रभाकर माचवे२. अशोक बाजपेयी✔३. श्रीकांत वर्मा४. नामवर सिंह2. "भूल गलती "कविता में किसे कैदी बनाया गया है :१.!-->!-->!-->…